New Delhi: भाई दूज या भैया दूज (Bhai dooj) का त्योहार भाई-बहन के स्नेह का प्रतीक होता है ये त्योहार दिवाली के दो दिन बाद मनाया जाता है। इस त्योहार को अलग-अलग राज्यों में विभिन्न पूजा विधि से मनाया जाता है। इस दिन बहनें अपने भाईयों की लंबी आयु की कामना करती हैं।
भाई दूज नाम से ही समझ आता है कि यह भाईयों के लिए विशेष तौर पर मनाया जाता है। इस दिन सारे भाई-बहन एकजुट हो जाते हैं और बहनें भाईयों को टीका कर मिठाई खिलाती हैं। इसके बाद भाई अपनी बहनों को गिफ्ट देते हैं। इस दिन बहनें अपने भाईयों की लंबी उम्र की कामना करती हैं।
कहा जाता है कि इस दिन भाई यदि यमुना नदी में स्नान करता है तो उसे यमराज के प्रकोप से मुक्ति मिलती है। इस दिन जो भाई अपनी बहन के घर आने से दिल से खुश होते हैं उन्हें यमराज का भय नहीं रहता। इस सब के अलावा यह त्योहार हर राज्य में अपनी संस्कृति और परंपरा के अनुसार मनाया जाता है। इस त्योहार को बिहार, दिल्ली, पश्चिम बंगाल और गुजरात जैसे राज्यों में खूब धूमधाम से मनाया जाता है। आइये जानते हैं कि विभिन्न राज्यों में कैसे अलग अलग तौर तरीकों से भाई दूज मनाया जाता है।
भाई दूज कैसे मनाते हैं
इस दिन को ट्रेडीशनल बनाने के लिए बहनें भाईयों के लिए चावल के दानों से एक सीट बनाती है और उस पर ही भाई को बिठाती भी हैं। इसके बाद टीका करने के लिए थाली सजाकर लाती हैं। थाली में वे कुमकुम यानि सिंदूर, दही, चावल, मिठाई और फूल रखकर सजाती हैं।
बहनें भाईयों के माथे पर सिंदूर, दही और चावल मिलाकर तिलक करती हैं। इसके बाद वे अपने भाई के हथेली में कद्दू, बेटेल की पत्तियों, बेटेल नट्स और सिक्कों को हाथों में रखकर धीरे-धीरे हथेली पर पानी डालने के साथ-साथ मंत्रों का जाप करती हैं। इसके बाद भाई के हाथ में कलावा बांधकर भाई की आरती की जाती है। आइए जानें अलग-अलग राज्यों में कैसे मनाते हैं भाई दूज-
बिहार
बिहार में यह त्यौहार काफी अलग और थोड़ा बेतुका होता है। यहां, बहनें अपने भाइयों के लिए अपनी जीभ को कांटे से चुभोकर अपनी भाईयों से उनसे कही हुई गलत बातों के लिए माफी मांगती हैं और लोगों की बुरी नजर से बचाने के लिए भी दुआ मांगती हैं। बदले में भाई अपनी बहनों को आशीर्वाद देते हैं और उनकी भलाई के लिए प्रार्थना करते हैं।
पश्चिम बंगाल
पश्चिम बंगाल में भाई दूज मनाने की विशेष परंपरा है। पश्चिम बंगाल में भाई दूज को भाई फोटा के नाम से पुकारा जाता है। यहां पर बहनें भाई की लंबी आयु की कामना के लिए उपवास यानि व्रत भी रखती हैं। बहने भाई को तिलक कर नारियल देती हैं। इस त्योहार पर पश्चिम बंगाल में खीर बनाने की परंपरा है।
गुजरात
गुजरात में भी भाई दूज को भाई बीज कहा जाता है। यहां पर बहनें भाई को तिलक कर आरती करती हैं और इस दिन गुजरात में पारंपरिक व्यंजन बनाए जाते हैं।
महाराष्ट्र और गोवा
महाराष्ट्र और गोवा के लोग भाई दूज को भाई बीज कह कर पुकारते हैं। यहां पर बहनें अपने भाई के लिए जमीन पर एक आकृति बनाती हैं। फिर इस जगह भाई को कुछ कड़वा खाकर बैठाया जाता है। उसके बाद भाई की विधि-विधान पूर्वक पूजा की जाती है।